नाम : | श्री अनुज कुमार झा | ||
पद : | जिलाधिकारी | ||
विभाग : | उत्तर प्रदेश शासन | ||
नियुक्त : | अयोध्या | ||
राज्य : | उत्तर प्रदेश | ||
विवरण : introduction
Name : Shri Anuj Kumar Jha (IAS) Designation : District Magistrate Appointment : AYODHYA Telephone No : 05278224205 E-Mail id : dmfai[at]nic[dot]in State : Uttar Pradesh Division : Faizabad Head Quarters : Faizabad Language : Hindi and Urdu Area: 2764 sq. km Population : 2468371 Sex Ratio : 961 Density : 1054/ sq. km Literacy : 70.63 Elevation / Altitude: 98 - 104 meters. Above Seal level Current Time 10:41 PM Date: Wednesday , Oct 02,2019 (IST) Time zone: IST (UTC+5:30) District Pin code Index: 224XXX Vehicle Registration Number: UP-28 RTO Office: Ayodhya अयोध्या जिले के बारे में अयोध्या जिले का पुराना नाम फैजाबाद था उत्तर प्रदेश राज्य, भारत के 75 जिलों में से एक है। अयोध्या जिला प्रशासनिक प्रमुख तिमाही फैजाबाद है। यह राज्य की राजधानी लखनऊ की ओर 140 KM पश्चिम में स्थित है। अयोध्या जिले की जनसंख्या 2468371 है। यह जनसंख्या के हिसाब से राज्य का 40 वां सबसे बड़ा जिला है। भूगोल और जलवायु अयोध्या जिला यह अक्षांश -26.7, देशांतर -82.1 पर स्थित है। फैजाबाद जिला दक्षिण में अंबेडकर नगर जिले, पश्चिम में बाराबंकी जिला, पूर्व में बस्ती जिला, उत्तर में गोंडा जिला, दक्षिण में सुल्तानपुर जिले के साथ सीमा साझा कर रहा है। फैजाबाद जिला लगभग 2764 वर्ग किलोमीटर के क्षेत्र में स्थित है। । इसकी 98 मीटर से 104 मीटर की ऊंचाई सीमा में है। यह जिला हिंदी बेल्ट इंडिया से संबंधित है। अयोध्या जिले के डेमोग्राफिक्स हिंदी यहां की स्थानीय भाषा है। साथ ही लोग उर्दू बोलते हैं। फैजाबाद जिले को 12 ब्लॉक, पंचायत, 4241 गांवों में विभाजित किया गया है। अयोध्या जिले की जनगणना 2011 2011 की जनगणना के अनुसार अयोध्या जिले की कुल जनसंख्या 2468371 है। यहाँ की जनसंख्या 1258731 है और महिलाओं की संख्या 1209640 है। कुल मिलाकर 1633074 लोग हैं। कुल क्षेत्रफल 2764 वर्ग किमी है। यह जनसंख्या के हिसाब से राज्य का 40 वां सबसे बड़ा जिला है। लेकिन राज्य के 42 सबसे बड़े जिले बाय एरिया। देश में जनसंख्या के हिसाब से 177 वां सबसे बड़ा जिला। राज्य में साक्षरता दर से 32 एन डी उच्चतम जिला है। देश में साक्षरता दर के हिसाब से 368 वां सबसे ऊंचा जिला है। साक्षरता दर 70.63 है अयोध्या में ब्लॉक की सूची अमानीगंज बिकापुर फैजाबाद हरिअनतगंज मासोद मावई माया बाजार मिल्कीपुर पुरा बाजार रुदौली सोवाल तरुण अयोध्या जिले में राजनीति राष्ट्रीय लोक दल, PECP, BJP, SP फैजाबाद जिले के प्रमुख राजनीतिक दल हैं। अयोध्या जिले में विधानसभा क्षेत्र अयोध्या जिले में कुल 5 विधानसभा क्षेत्र। रुदौली राम चंद्रा यादव बीजेपी संपर्क नंबर: 9415220081 मिल्कीपुर गोरख नाथ भाजपा संपर्क नंबर: 9919888880 बीकापुर शोभा सिंह चौहान भाजपा संपर्क नंबर: 9415048215 अयोध्या वेद प्रकाश गुप्ता भाजपा संपर्क नंबर: 9415048050 गोसाईंगंज इन्द्र प्रताप ALIAS KHABBU TIWARI BJP संपर्क नंबर: 7310069999 अयोध्या जिले में संसद क्षेत्र फैजाबाद जिले में कुल 4 संसद क्षेत्र। सुल्तानपुर MANEKA SANJAI GANDHI भारतीय जनता पार्टी फैजाबाद लल्लू सिंह भारतीय जनता पार्टी अंबेडकर नगर रितेश पांडे बहुजन समाज पार्टी बस्ती हरीश चंद्रा अलीश हरीश DWIVEDI भारतीय जनता पार्टी अयोध्या जिला पर्यटन अयोध्या, फैजाबाद, हनुमान गढ़ी, रत्ना सिंहसन, घूमने के लिए पर्यटन स्थल हैं। अयोध्या जिले में मंदिर रामजन्मभूमि, हनुमानगढ़ी, श्री लक्ष्मीनारायण मंदिर हनुमानकुंड, अयोध्या जिले में प्रसिद्ध मंदिर हैं अयोध्या परिवहन सड़क परिवहन जिला मुख्यालय फैजाबाद सड़क मार्ग से अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है। अयोध्या, रुदौली इस जिले के प्रमुख शहर और दूरदराज के गांवों से सड़क संपर्क हैं। अयोध्या लखनऊ से सड़क मार्ग से लगभग 140 KM दूर (उत्तर प्रदेश की राजधानी) है रेल वाहक जिले के कुछ रेल मार्ग स्टेशन फैजाबाद जंक्शन, अयोध्या जंक्शन, रुदौली, सोहवाल, आचार्य नरेंद्र देव नगर, देराकोट, खजुरहट, मालथु कनक .... हैं जो जिले के अधिकांश कस्बों और गांवों को जोड़ता है। बस परिवहन उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन (UPSRTC) इस जिले के प्रमुख शहरों से लेकर शहरों और गांवों तक बसें चलाती है। शहरों के पास अयोध्या 1 KM रुदौली 43 KM सुल्तानपुर 62 किलोमीटर टांडा 62 KM एयर पोर्ट्स के पास अमौसी एयरपोर्ट 140 KM गोरखपुर एयरपोर्ट 143 KM बमरौली हवाई अड्डा 173 KM वाराणसी एयरपोर्ट 183 KM जिले के पास फैजाबाद 0 KM गोंडा 48 KM अम्बेडकर नगर 61 KM बस्ती 64 KM रेल्वे स्टेशन के पास आचार्य नरेंद्र देव नगर रेल मार्ग स्टेशन 1.1 KM फैजाबाद जंक्शन रेल मार्ग स्टेशन 2.2 KM अयोध्या जंक्शन रेल मार्ग स्टेशन 6.0 KM |
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राष्ट्रपिता महात्मा गांधी जीवनी :
आप उन्हें बापू कहो या महात्मा दुनिया उन्हें इसी नाम से जानती हैं। अहिंसा और सत्याग्रह के संघर्ष से उन्होंने भारत को अंग्रेजो से स्वतंत्रता दिलाई। उनका ये काम पूरी दुनिया के लिए मिसाल बन गया। वो हमेशा कहते थे बुरा मत देखो, बुरा मत सुनो, बुरा मत कहो, और उनका ये भी मानना था की सच्चाई कभी नहीं हारती। इस महान इन्सान को भारत ने राष्ट्रपिता घोषित कर दिया। उनका पूरा नाम था ‘मोहनदास करमचंद गांधी‘ – Mahatma Gandhi –
पूरा नाम – मोहनदास करमचंद गांधी जन्म – 2 अक्तुंबर १८६९ जन्मस्थान – पोरबंदर (गुजरात) पिता – करमचंद माता – पूतळाबाई शिक्षा – १८८७ में मॅट्रिक परीक्षा उत्तीर्ण। १८९१ में इग्लंड में बॅरिस्टर बनकर वो भारत लोटें। विवाह – कस्तूरबा ( Mahatma Gandhi Wife Name – Kasturba Gandhi ) राष्ट्रपिता महात्मा गांधी जीवनी – Mahatma Gandhi in Hindi महात्मा गांधी का जन्म पोरबंदर इस शहर गुजरात राज्य में हुआ था। गांधीजीने ने शुरवात में काठियावाड़ में शिक्षा ली बाद में लंदन में विश्वविद्यालय से कानून की डिग्री प्राप्त की। इसके बाद वह भारत में आकर अपनी वकालत की अभ्यास करने लगे। लेकिन सफल नहीं हुए। उसी समय दक्षिण अफ्रीका से उन्हें एक कंपनी में क़ानूनी सलाहकार के रूप में काम मिला। वहा महात्मा गांधीजी लगभग 20 साल तक रहे। दक्षिण अफ्रीका में भारतीयों के मुलभुत अधिकारों के लिए लड़ते हुए महात्मा गांधी को 10 जनवरी 1908 को उनके जीवन में पहली बार जेल हुई थी। अफ्रीका में उस समय बहुत ज्यादा नक्सलवाद हो रहा था। उसके बारे में एक किस्सा भी है। जब गांधीजी अग्रेजों के स्पेशल कंपार्टमेंट में चढ़े उन्हें गांधीजी को बहुत बेईजत कर के ढकेल दिया। सी समय दक्षिण अफ्रीका से उन्हें एक कंपनी में क़ानूनी सलाहकार के रूप में काम मिला। वहा महात्मा गांधीजी लगभग 20 साल तक रहे। वहा भारतीयों के मुलभुत अधिकारों के लिए लड़ते हुए कई बार जेल भी गए। अफ्रीका में उस समय बहुत ज्यादा नस्लवाद हो रहा था। उसके बारे में एक किस्सा भी है। जब गांधीजी अग्रेजों के स्पेशल कंपार्टमेंट में चढ़े उन्हें गांधीजी को बहुत बेईजत कर के ढकेल दिया। वहा उन्होंने सरकार विरूद्ध असहयोग आंदोलन संगठित किया। वे एक अमेरिकन लेखक हेनरी डेविड थोरो लेखो से और निबंधो से बेहद प्रभावित थे। आखिर उन्होंने अनेक विचारो ओर अनुभवों से सत्याग्रह का मार्ग चुना, जिस पर गांधीजी पूरी जिंदगी चले। पहले विश्वयुद्ध के बाद भारत में ‘होम रुल’ का अभियान तेज हो गया। 1919 में रौलेट एक्ट पास करके ब्रिटिश संसद ने भारतीय उपनिवेश के अधिकारियों को कुछ आपातकालींन अधिकार दिये तो गांधीजीने लाखो लोगो के साथ सत्याग्रह आंदोलन किया। उसी समय एक और चंद्रशेखर आज़ाद और भगत सिंह क्रांतिकारी देश की स्वतंत्रता के लिए हिंसक आंदोलन कर रहे थे। लेकीन गांधीजी का अपने पूर्ण विश्वास अहिंसा के मार्ग पर चलने पर था। और वो पूरी जिंदगी अहिंसा का संदेश देते रेहे। महात्मा गांधीजी की जीवन कार्य १८९३ में उन्हें दादा अब्दुला इनका व्यापार कंपनी का मुकदमा चलाने के लिये दक्षिण आफ्रिका को जाना पड़ा। जब दक्षिण आफ्रिका में थे तब उन्हें भी अन्याय-अत्याचारों का सामना करना पड़ा। उनका प्रतिकार करने के लिये भारतीय लोगोंका संघटित करके उन्होंने १८९४ में ‘नेशनल इंडियन कॉग्रेस की स्थापना की। १९०६ में वहा के शासन के आदेश के अनुसार पहचान पत्र साथ में रखना सक्त किया था। इसके अलावा रंग भेद नीती के विरोध में उन्होंने ब्रिटिश शासन विरुद्ध सत्याग्रह आंदोलन आरंभ किया। १९१५ में Mahatma Gandhi – महात्मा गांधीजी भारत लौट आये और उन्होंने सबसे पहले साबरमती यहा सत्याग्रह आश्रम की स्थापना की। तथा १९१९ में उन्होंने ‘सविनय अवज्ञा’ आंदोलन में शुरु किया। १९२० में असहयोग आंदोलन शुरु किया। १९२० में लोकमान्य तिलक के मौत के बाद राष्ट्रिय सभा का नेवृत्त्व महात्मा गांधी के पास आया। १९२० में के नागपूर के अधिवेशन में राष्ट्रिय सभा ने असहकार के देशव्यापी आंदोलन अनुमोदन देनेवाला संकल्प पारित किया। असहकार आंदोलन की सभी सूत्रे महात्मा गांधी पास दिये गये। १९२४ में बेळगाव यहा राष्ट्रिय सभा के अधिवेशन का अध्यक्षपद। १९३० में सविनय अवज्ञा आदोलन शुरु हुवा। नमक के उपर कर और नमक बनानेकी सरकार एकाधिकार रद्द की जाये। ऐसी व्हाइसरॉय से मांग की, व्हाइसरॉय ने उस मांग को नहीं माना तब गांधीजी ने नमक का कानून तोड़कर सत्याग्रह करने की ठान ली। १९३१ में राष्ट्रिय सभे के प्रतिनिधि बनकर गांधीजी दूसरी गोलमेज परिषद को उपस्थित थे। १९३२ में उन्होंने अखिल भारतीय हरिजन संघ की स्थापना की। १९३३ में उन्होंने ‘हरिजन’ नाम का अखबार शुरु किया। १९३४ में गांधीजीने वर्धा के पास ‘सेवाग्राम’ इस आश्रम की स्थापना की। हरिजन सेवा, ग्रामोद्योग, ग्रामसुधार, आदी विधायक कार्यक्रम करके उन्होंने प्रयास किया। १९४२ में चले जाव आंदोलन शुरु उवा। ‘करेगे या मरेगे’ ये नया मंत्र गांधीजी ने लोगों को दिया। व्दितीय विश्वयुध्द में महात्मा गांधीजी ने अपने देशवासियों से ब्रिटेन के लिये न लड़ने का आग्रह किया था। जिसके लिये उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया था। युध्द के उपरान्त उन्होंने पुन: स्वतंत्रता आदोलन की बागडोर संभाल ली। अंततः १९४७ में हमारे देश को स्वतंत्रता प्राप्त हो गई। गांधीजीने सदैव विभिन्न धर्मो के प्रति सहिष्णुता का संदेश दिया। १९४८ में १९४८ में नाथूराम गोडसे ने अपनी गोली से उनकी जीवन लीला समाप्त कर दी। इस दुर्घटना से सारा विश्व शोकमग्न हो गया था। वर्ष १९९९ में बी.बी.सी. व्दारा कराये गये सर्वेक्षण में गांधीजी को बीते मिलेनियम का सर्वश्रेष्ट पुरुष घोषित किया गया। महात्मा गांधी विशेषता – भारत के राष्ट्रपिता, महात्मा Mahatma Gandhi Death – मृत्यु – 30 जनवरी १९४८ में नथुराम गोडसे ने गोली मारकर उनकी हत्या की। मोहनदास करमचंद गांधी – Mahatma Gandhi भारत के स्वतंत्रता आंदोलन के निदेशक थे। उन्ही की प्रेरणा से १९४७ में भारत को स्वतंत्रता प्राप्त हो सकी। अपनी अदभुत आध्यात्मिक शक्ति से मानव जीवन के शाश्वत मूल्यों को उदभाषित करने वाले। विश्व इतिहास के महान तथा अमर नायक महात्मा गांधी आजीवन सत्य, अहिंसा और प्रेम का पथ प्रदर्शित करते रहे। इस प्रोजेक्ट का उद्देश्य देश के महान क्रन्तिकारी महात्मा गांधी के बलिदान से युवा वर्ग राष्ट्र रक्षा का प्रण लें संस्था द्वारा श्रद्धांजलि अर्पित कर सत सत नमन करते हैं , मेहनाज़ अंसारी |
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